राजनीतिक दलों को साल 2021-22 के वित्तीय वर्षों में कितना दान मिला है, इससे संबधित एडीआर रिपोर्ट सामने आ गई है. इस रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि कितनी पार्टियों को कैश में और कितना चंदा मिला है. वहीं राजनीतिक दलों के चंदे में कितनी बढ़ोतरी और कितनी कमी हुई है, इसकी भी जानकारी सामने आई है.
राजनीतिक दलों को बीते दो सालों, 2021-22 के वित्तीय वर्षों में कितना चंदा मिला है? एडीआर ने अपनी रिपोर्ट में इसका खुलासा किया है. एडीआर ने सोमवार को कहा कि 26 क्षेत्रीय दलों को 2021-22 में दान में 189 करोड़ रुपये मिले हैं, जिनमें से इसका 85 प्रतिशत सिर्फ जदयू और सपा सहित सिर्फ पांच दलों को मिला है. एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) द्वारा जारी एक नई रिपोर्ट के अनुसार, AIADMK, BJD, NDPP, SDF, AIFB, PMK और JKNC की ओर से वित्तीय वर्ष 2021-22 में किसी तरह के चंदा पाए जाने की घोषणा नहीं की गई थी.
2021-22 में किसे कितना मिला चंदा?
बता दें कि सामने आई यह रिपोर्ट वित्तीय वर्ष 2021-22 के दौरान क्षेत्रीय राजनीतिक दलों द्वारा घोषित किए गए दान पर केंद्रित है, पॉलिटिकल पार्टियों की ओर से निर्वाचन आयोग (ECI) को बताया गया है. एडीआर ने कहा कि 26 क्षेत्रीय दलों द्वारा घोषित दान की कुल राशि, 189.801 करोड़ रुपये थी. इस रकम में 20,000 रुपये से अधिक और कम दोनों ही तरह की दी गई रकम शामिल है. कुल 5,100 चंदों से मिलकर यह कुल रकम सामने आई है.
टीआरएस और आम आदमी पार्टी को मिला इतना चंदा
रिपोर्ट में कहा गया है कि क्षेत्रीय दलों को मिले कुल चंदे का 85.46 फीसदी या 162.21 करोड़ रुपये पांच क्षेत्रीय दलों- टीआरएस, आप, जदयू, सपा और वाईएसआर-कांग्रेस को मिला. टीआरएस, आप, सपा और वाईएसआर-कांग्रेस ने वित्त वर्ष 2020-21 की तुलना में अपने चंदे में वृद्धि की घोषणा की, जबकि जदयू ने चंदे में कमी बताई है. एडीआर ने कहा, " टीआरएस को मिले 14 चंदों से 40.90 करोड़ रुपये मिले हैं, इस तरह वह सबसे आगे है, जबकि आम आदमी पार्टी ने 2,619 दान से 38.24 करोड़ रुपये प्राप्त किए हैं. "
कई पार्टियों के चंदे में हुई बढ़ोतरी
इसी तरह, जदयू को 33.26 करोड़ रुपये मिले हैं कि जो सभी क्षेत्रीय दलों को मिली तीसरी सबसे बड़ी राशि है. एडीआर रिपोर्ट में कहा गया है कि सपा और वाईएसआर-कांग्रेस को क्रमश: 29.80 करोड़ और 20 करोड़ रुपये प्राप्त हुए हैं. वित्त वर्ष 2020-21 और वित्त वर्ष 2021-22 के बीच, वाईएसआर-कांग्रेस को दान में 8,00,300 प्रतिशत की वृद्धि हुई, उसके बाद सपा, जिसके लिए यह बढ़ोतरी 5,807 प्रतिशत, आरएलडी के लिए 4,090 प्रतिशत, और एमजीपी में 3,583 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है. इसके अलावा चार पार्टियों- आरएलटीपी, जेएमएम, पीडीएफ और डीएमडीके को वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान कोई दान नहीं मिला, लेकिन वित्त वर्ष 2021-22 में इन्हें चंदा मिला है.
कुछ के दान में कमी भी आई
2021-22 में, RLTP को 3 लाख रुपये, JMM को 1 लाख रुपये, PDF को 80,000 रुपये और DMDK को 50,000 रुपये मिलने की सूचना है. “एआईएडीएमके ने 100 प्रतिशत, एसडीएफ ने 100 प्रतिशत, एआईएफबी ने 100 प्रतिशत, पीएमके ने भी 100 प्रतिशत और एआईयूडीएफ 95 प्रतिशत की सबसे अधिक कमी की घोषणा की है.
कैश में इतना मिला है चंदा
ADR ने कहा कि BJD, NDPP और JKNC ने वित्त वर्ष 2020-21 और वित्त वर्ष 2021-22 के दौरान 20,000 रुपये से अधिक का कोई चंदा नहीं मिलने की सूचना दी है. वित्त वर्ष 2021-22 के दौरान क्षेत्रीय दलों द्वारा घोषित 189.801 करोड़ रुपये में से 21 चंदे से 7.40 लाख रुपये नकद प्राप्त हुए हैं. एडीआर के मुताबिक यह आंकड़ा पार्टियों को मिले कुल चंदे का 0.039 फीसदी है.
तमिलनाडु से सबसे अधिक मिला कैश में चंदा
कैश में मिले चंदे की बात करें तो यह IUML को सबसे अधिक मिला है. पार्टी को कैश में 5.55 लाख रुपये नकद चंदे में मिले हैं. उसके बाद KC-M, PDF, PPA और AAP ने क्रमशः 1 लाख रुपये, 80,000 रुपये, 5,000 रुपये और 120 रुपये कैश में प्राप्त किए हैं. तमिलनाडु के दानदाताओं ने सबसे अधिक 5.55 लाख रुपये का नकद दान किया. आप को 20,000 रुपये से अधिक के कुल चंदे का करीब 4.78 फीसदी या 1.828 करोड़ रुपये विदेशों से मिला है. एडीआर ने कहा कि कुल 2.7286 करोड़ रुपये (वित्तीय वर्ष 2021-22 में क्षेत्रीय दलों द्वारा प्राप्त कुल दान का 1.44 प्रतिशत) अपूर्ण या पार्टियों द्वारा प्रदान की गई जानकारी की कमी के कारण किसी भी राज्य या केंद्र शासित प्रदेश को नहीं दिया जा सकता है.