Political Parties Assets: एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स के अनुसार, वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान, सपा ने कुल 561.46 करोड़ रुपये की संपत्ति घोषित की, जो 2021-22 में 1.23 प्रतिशत बढ़कर 568.369 करोड़ रुपये हो गई।
चार राज्यों के विधानसभा चुनाव परिणामों के बीच राजनीतिक पार्टियों से जुड़ा एक महत्वपूर्ण डाटा सामने आया है। समाजवादी पार्टी (सपा) ने वर्ष 2021-22 के लिए में क्षेत्रीय दलों में सबसे अधिक संपत्ति घोषित की है। उसके बाद दूसरे नंबर पर तेलंगाना भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) का स्थान रहा। बता दें कि तेलंगाना में सत्ता पर काबिज बीआरएस को विधानसभा चुनाव के ताजा परिणामों में कांग्रेस ने बाहर का रास्ता दिखा दिया है। एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स के अनुसार, वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान, सपा ने कुल 561.46 करोड़ रुपये की संपत्ति घोषित की, जो 2021-22 में 1.23 प्रतिशत बढ़कर 568.369 करोड़ रुपये हो गई।
सपा के बाद बीआरएस ने वित्त वर्ष 2020-21 में 319.55 करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2021-22 में 512.24 करोड़ रुपये की कुल संपत्ति घोषित की। दो वर्षों में, द्रमुक, बीजद और जद (यू) की कुल संपत्ति में 95 प्रतिशत की वृद्धि हुई।
द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) ने 2020-21 में 115.708 करोड़ रुपये की संपत्ति घोषित की, जो 2021-22 में 244.88 प्रतिशत बढ़कर 399 करोड़ रुपये से अधिक हो गई। बीजू जनता दल ने 2020-21 में 194 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति घोषित की थी, जो 2021-22 में 143 प्रतिशत बढ़कर 474 करोड़ रुपये हो गई, जबकि जद (यूएस) ने 2020-21 में 86 करोड़ रुपये की संपत्ति घोषित की, जो 2021-22 में 95 प्रतिशत से अधिक बढ़कर 168 करोड़ रुपये हो गई।
वहीं आम आदमी पार्टी की संपत्ति 2020-21 और 2021-22 के बीच 71.76 प्रतिशत बढ़ी और यह 21.82 करोड़ रुपये से बढ़कर 37.477 करोड़ हो गई। रिपोर्ट में कहा गया है कि शीर्ष 10 दलों में अन्नाद्रमुक और तेदेपा ही ऐसी पार्टियां हैं जिनकी घोषित वार्षिक संपत्ति में क्रमश: 1.55 प्रतिशत और 3.04 प्रतिशत की कमी आई है। p
वित्त वर्ष 2020-21 और 2021-22 के बीच एआईएडीएमके की संपत्ति 260.166 करोड़ रुपये से घटकर 256.13 करोड़ रुपये हो गई। वहीं इस दौरान टीडीपी की संपत्ति 133.423 करोड़ रुपये से घटकर 129.372 करोड़ रुपये हो गई।